Bihar: ‘समाधान यात्रा’ पर निकले नीतीश कुमार, शिवानंद तिवारी की सलाह पर सियासी बवाल, भाजपा ने ऐसे कसा तंज
Bihar: 'समाधान यात्रा' पर निकले नीतीश कुमार, शिवानंद तिवारी की सलाह पर सियासी बवाल, भाजपा ने ऐसे कसा तंज

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार समाधान यात्रा कर रहे हैं। अपनी यात्रा के दौरान नीतीश कुमार 16 दिन में 18 जिलों का भ्रमण करेंगे। इन 16 दिनों में 9 रातें वह पटना से बाहर भी रहेंगे। नीतीश कुमार की इस यात्रा को आने वाले लोकसभा चुनाव से भी जोड़कर देखा जा रहा है। नीतीश कुमार की यात्रा पश्चिम चंपारण से शुरू हुई है। 6 जनवरी को यह शिवहर और सीतामढ़ी में रहेगी। 7 को वैशाली, 8 जनवरी को सिवान, 9 जनवरी को सारण में नीतीश कुमार की समाधान यात्रा रहने वाली है। 11 जनवरी को मधुबनी, 12 को दरभंगा, 17 को सुपौल, 18 को सहरसा, 19 को अररिया में यह यात्रा होगी। 20 जनवरी को किशनगंज, 21 को कटिहार, 22 को खगरिया, 28 को बांका और 29 जनवरी को मुंगेर लखीसराय और शेखपुरा में नीतीश कुमार रहेंगे।
इसको लेकर नीतीश कुमार का बयान दिया गया है। नीतीश कुमार ने कहा है कि वह इस यात्रा के जरिए राज्य में हो रहे विकास कार्यों का जायजा लेंगे। अपने बयान में नीतीश कुमार ने कहा कि हमारा मकसद है कि हम जिलों के विभिन्न जगहों में जाकर देखें कि कितना काम किया गया, काम में बाधा तो नहीं आई,काम पूरा हुआ कि नहीं, आगे और क्या करना चाहिए…आज हम सभी अधिकारियों के साथ बैठक करेंगे और फिर 1 महीने बाद उनसे रिपोर्ट लूंगा। नीतीश कुमार की यह यात्रा कड़ाके की ठंड में हो रही है। इसलिए इसे प्रमुखता से देखा जा रहा है। दूसरी ओर भाजपा नीतीश कुमार के इस यात्रा को लेकर हमलावर है। इन सबके बीच राजद नेता और नीतीश कुमार के कभी सहयोगी रहे शिवानंद तिवारी ने भी उन्हें इस यात्रा को स्थगित करने की सलाह दे दी है।
शिवानंद तिवारी ने कहा कि अभी बहुत सर्द हैं। ऐसे में आप अपनी इस यात्रा को स्थगित कर दीजिए। उन्होंने कहा कि यात्रा तो कहने के लिए मुख्यमंत्री का है लेकिन इसमें सैकड़ों लोग जुड़ेंगे। ऐसे में उन्हें तकलीफ हो सकती है। लोगों के लिए ठंड में खुले में निकलना बहुत जोखिम भरा रहेगा। शिवानंद तिवारी के इस बयान को जदयू और राजद के बीच हाल में ही देखी गई तल्खी से भी जोड़कर देखा जा रहा है। दूसरी ओर भाजपा के सांसद और पूर्व उप मुख्यमंत्री सुशील मोदी ने भी नीतीश कुमार पर तंज कसा है। उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार इसलिए यात्रा पर निकल रहे हैं कि उन्हें तुरत कुर्सी न छोड़नी पड़े। वे किसी न किसी बहाने 2025 तक तेजस्वी यादव की ताजपोशी टालते रहेंगे।