शुक्रताल में श्री नामदेव धर्मशाला में चल रही श्रीमद् भागवत कथा के तीसरे दिन हुआ प्रभु का भाव पूर्ण वर्णन, श्रद्धालु भक्ति में डूबे
शुक्रताल में श्री नामदेव धर्मशाला में चल रही श्रीमद् भागवत कथा के तीसरे दिन हुआ प्रभु का भाव पूर्ण वर्णन, श्रद्धालु भक्ति में डूबे


गुरुवार 27 जुलाई 2023 को नामदेव धर्मशाला शुक्रताल मुजफ्फरनगर में कथा व्यास पंडित राधे कृष्ण रतूड़ी जी के सानिध्य में श्रीमद् भागवत कथा के तीसरे दिन की कथा का विस्तार पूर्वक वर्णन किया गया।, तथा आज के यजमान सुभाष कुमार व नंदकिशोर ने पत्नी और माता सहित और सुरेन्द्र कुमार बैंक वालो ने परिवार सहित पूजन कराया और रवींद्र कुमार एडवोकेट, चंद्रलेखा , बिजेन्द्र नामदेव ने सपत्नी कथा व्यास जी को पटका पहनाया, और कथा व्यास जी ने वर्णन किया की किस प्रकार प्रहलाद जी ने अपनी भक्ति से भगवान को प्राप्त किया और प्रभु ने भी अपने भक्त की किस प्रकार रक्षा करी और मनुष्य किस प्रकार धन मोह माया के चक्कर में फस कर अपने जीवन को व्यर्थ करता है और प्रभु से दूरी बनाकर अनेक प्रकार के पापो को करता है । प्रभु अपने भक्तो के लिए हर समय तत्पर रहते है वह अपने भक्त की हर संकट से रक्षा करते है और और उनकी इस संसार रूपी भव सागर से मुक्ति प्रदान करते है और प्रभु तो केवल भाव के भूखे है और उन्हें भक्ति भाव से ही पा सकते है जिस प्रकार महाभारत के समय प्रभु ने विदुर जी के घर में विदुर जी की पत्नी द्वारा भक्ति में लीन होकर केले के स्थान पर केले के छिलके का भोग लगाया तो भगवान जी भी भक्ति रूप में केले के स्थान पर छिलकों का भोग प्राप्त किया क्यों की प्रभु तो केवल भाव के भूखे है और प्रभु श्री कृष्ण जी के अद्भुत और सुंदर जीवन के विषय में बताया किस प्रकार केवल सात माह के होने पर पूतना का वध किया और इंद्र द्वारा अधिक वर्षा करने पर अपने भक्तो की रक्षा हेतु अपनी कन्नी उंगली पर गोवर्धन पर्वत को उठाया और अनेकों राक्षस को मार गिराए और पापी कंस का वध किया और बताया की कलयुग में भगवान को पाने का सबसे आसान तरीका भागवत महापुराण कथा का सुनना है ये कथा को सुनने से मनुष्य के सभी पापो का अंत हो जाता है और मनुष्य जन्म मरण के बंधन से मुक्त हो जाता है और मोक्ष को प्राप्त हो जाता है और बताया की प्रभु अपने भक्तो की पीड़ा को दूर करने के लिए हमेशा तत्पर रहते है और अपने भक्तो के सभी दुखो को समाप्त करते है परंतु मनुष्य है की कलयुग में मोह माया कपट लालच में फसकर ईश्वर से दूर हो गया है , और बताया की किस प्रकार श्री कृष्ण जी अपने बाल्यकाल से ही दुष्टों और राक्षसों का विनाश किया और अंत में आज की कथा को विराम दिया गया और प्रसाद वितरण किया गया और कथा में शामिल सभी श्रद्धालुओं ने भक्ति भाव से भागवत कथा का श्रवण किया और धर्म लाभ उठाया और महिलाओं ने प्रभु भक्ति में लीन होकर नृत्य किया। उर्मिला और प्रतिभा मलिक ने सुंदर सुंदर भजन सुना कर वातावरण को पूर्णतया भक्ति मय कर दिया। जिससे कथा में उपस्थित विशाल जनसमूह ने भक्ति में डूब कर बहुत सुंदर नृत्य किया। इस अवसर पर कथा व्यवस्थापक चंद्रलेखा , रविंद्र कुमार एडवोकेट व मन्नूलाल नामदेव, विजेंद्र नामदेव , मंजू नामदेव ,सुरेंद्र कुमार बैंक वाले,प्रमोद चाट वाले आदि श्रद्धालुओं ने अपनी उपस्थिति दर्ज कराएं और श्री भागवत कथा में अपना सहयोग प्रदान किया
