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Raj Thackeray Birthday: राजनीति में आने से पहले कार्टूनिस्ट बनना चाहते थे मनसे चीफ राज ठाकरे

Raj Thackeray Birthday: राजनीति में आने से पहले कार्टूनिस्ट बनना चाहते थे मनसे चीफ राज ठाकरे

Raj Thackeray Birthday: राजनीति में आने से पहले कार्टूनिस्ट बनना चाहते थे मनसे चीफ राज ठाकरे
शिवसेना प्रमुख बाला साहेब ठाकरे के भतीजे और भारतीय राजनेता राज ठाकरे अक्सर अपने बयानों को लेकर सुर्खियों में रहते हैं। बता दें कि आज यानी की 14 जून को राज ठाकरे अपना 55वां जन्मदिन मना रहे हैं। हाल ही में राज ठाकरे लाउडस्पीकर को लेकर दिए गए बयान को लेकर काफी विवादों में रहे थे। उनके बयान के कारण ही महाराष्ट्र सरकार में हलचल पैदा हो गई थी। हालांकि राज ठाकरे को कभी शिवसेना के भावी नेता के रूप में देखा जाता था। लेकिन परिवार से नाराजगी के बाद उन्होंने अपनी पार्टी महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) का निर्माण किया। आइए जानते हैं उनके जन्मदिन के मौके पर राज ठाकरे के जीवन से जुड़ी कुछ रोचक बातों के बारे में…

जन्म और शिक्षा

महाराष्ट्र में मराठी कायस्थ परिवार में 14 जून 1968 को राज ठाकरे का जन्म हुआ था। उनके पिता श्रीकांत ठाकरे एक फेमस कार्टूनिस्ट संगीतकार थे। इसके साथ ही वह उर्दू भाषा पर उनकी काफी अच्छी पकड़ थी। राज ठाकरे को बचपन से ही संगीत में काफी रूचि रही है। वह अपने पिता के साथ संगीत का अभ्यास करते थे। उन्होंने अपनी शुरूआती शिक्षा मुंबई के बाल मोहन विघा मंदिर से पूरी की। इसके बाद मुंबई के जमशेदजी जीजेभॉय स्कूल ऑफ आर्ट्स से पढ़ाई की थी। बता दें कि राज ठाकरे ने बचपन में तबला, गिटार और वायलिन आदि बजाना सीखा था।

इसके अलावा राज ठाकरे को ड्राइंग में भी काफी इंट्ररेस्ट था। इसी वजह से उन्होंने कला में ग्रेजुएशन किया है। वह बचपन से ही अपने चाचा की तरह कार्टूनिस्ट बनना चाहते थे। उन्होंने कई बार खुले मंच पर यह स्वीकारा है कि यदि वह राजनीति में नहीं होते तो वाल्ट डिजनी जैसा कार्टूनिस्ट बन जाते। हालांकि बाद में संगीत और कला से उनकी रुचि हटकर लोकसेवा में बदल गई। राज ठाकरे ने अपेन चाचा बाला साहेब ठाकरे से लोकसेवा सीखी थी।

राज और उद्धव ठाकरे का रिश्ता

महाराष्ट्र के पूर्व सीएम उद्धव ठाकरे और राज ठाकरे दोनों रिश्ते में एक-दूसरे के चचेरे भाई लगते हैं। हालांकि इनके विचार आपस में नहीं मिलते हैं। जहां राज ठाकरे अक्सर हिंदुत्व की बात करते नजर आते हैं। तो वहीं दूसरी ओर उद्धव ठाकरे महाराष्ट्र हित के साथ खड़े रहते हैं। हाल फिलहाल दोनों लाउडस्पीकर मामले को लेकर एक-दूसरे के सामने आए थे। शिवसेना ने राज ठाकरे का विरोध किया था और राज ठाकरे के खिलाफ एफआईआर भी दर्ज करवाई थी। लेकिन राज ठाकरे अपनी बात पर अड़े रहे थे। कई बार राज ठाकरे में बाला साहेब ठाकरे की छवि दिखाई देती है। क्योंकि वह भी बाला साहेब ठाकरे की तरह जो ठान लेते हैं वो करके रहते हैं।

उरी हमले का विरोध

साल 2016 में राज ठाकरे ने उरी हमेल का विरोध किया था। इस दौरान उन्होंने खुलेआम ऐलान कर दिया था कि मुंबई में किसी भी पाकिस्तानी कलाकार की फिल्म को रिलीज नहीं किया जाएगा। उन्होंने हर एक प्रोग्राम कैंसिल करने का ऐलान कर दिया था। ताकि पाकिस्तान वालों से हमारे देश के शहीद जवानों का बदला लिया जा सके। इसके साथ ही राज ठाकरे ने पाकिस्तानी कलाकारों को देश ने बाहर निकलने का अल्टीमेटम तक दे दिया था।

पॉलिटिकल कॅरियर

चाचा बाला साहेब ठाकरे से राज ठाकरे ने राजनीतिक गुण सीखे हैं। साल 1997 में राज ठाकरे ने शिवसेना के साथ मिलकर अपने कॅरियर की शुरूआत की थी। उस दौरान उन्होंने युवा नेता के रूप में अपनी छवि को मजबूत बनाने की कोशिश की थी। इसके साथ ही साल 2006 में उन्होंने कई सोर्स के साथ रोजगार के लिए पैसे एकत्र किए। साल 2006 में उन्होंने शिवसेना पार्टी से इस्तीफा दे दिया। राज ठाकरे ने इस्तीफा देते हुए कहा था कि यह पार्टी क्लर्कों द्वारा चलाई जा रही है। जिसके चलते पार्टी का कोई अस्तित्व नहीं है।

साल 2006 में ही राज ठाकरे ने अपनी पार्टी महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना का गठन किया। भले ही राज ठाकरे ने शिवसेना से अपना रिश्ता तोड़ लिया था। लेकिन उन्होंने अपने चाचा यानी की बाला साहेब ठाकरे से कभी दुश्मनी नहीं रखी। साल 2008 में महाराष्ट्र में हुए एक हिंसक आंदोलन का राज ठाकरे ने नेतृत्व किया था। जिसके बाद वह लोगों के बीच काफी ज्यादा फेमस हो गए थे।

विवाद

राज ठाकरे ने शिवसेना के साथ मिलकर ऑस्ट्रेलिया में हुए भारतीय छात्रों पर हमले का जोरदार विरोध किया। जिसके बाद उन्होंने महाराष्ट्र में ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेटरों पर बैन लगा दिया था।

साल 2008 में राज ठाकरे ने बच्चन फैमिली की फिल्मों पर प्रतिबंध लगाने की बात की थी। ऐसा उन्होंने इसलिए कहा था क्योंकि अमिताभ बच्चन की पत्नी जया बच्चन ने कहा था कि वह यूपी वाले हैं, वह हिंदी बोलेंगे न की मराछी। जिसके बाद राज ठाकरे का यह बयान सामने आया था।

साल 2009 में राज ठाकरे ने फिल्म ‘वेक अप सिड’ को मुंबई के कुछ थिएटरों में दिखाने से मना कर दिया था।

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