अफगानिस्तान पर कब्जा करने वाले तालिबान को कहां से मिलता है पैसा ? जानिए इस चरमपंथी संगठन की कितनी है संपत्ति
अफगानिस्तान पर कब्जा करने वाले तालिबान को कहां से मिलता है पैसा ? जानिए इस चरमपंथी संगठन की कितनी है संपत्ति

काबुल। अफगानिस्तान में दो दशक से जारी जंग से अमेरिका के ऐलान के बाद स्थिति बदल गई। कुछ सप्ताह के भीतर ही अफगानिस्तान से अमेरिकी और नाटो बलों की वापसी हो जाएगा। अमेरिकी प्रशासन के ऐलान के बाद से अफगानिस्तान में तालिबान ने पैर पसारना शुरू कर दिया।
तालिबान ने शुक्रवार को चार और प्रांतों की राजधानियों पर कब्जा करते हुए देश के समूचे दक्षिणी भाग पर अपना नियंत्रण स्थापित कर लिया और अब वह धीरे-धीरे काबुल की तरफ बढ़ रहा है। दक्षिणी भाग पर कब्जे का मतलब है कि तालिबान ने 34 प्रांतों में से आधे से ज्यादा की राजधानियों पर अपना नियंत्रण बना लिया है। इसके अलावा कई प्रांतों के नेताओं और सामाजिक कार्यकर्ताओं को भी बंदी बना लिया है।
अंग्रेजी समाचार वेबसाइट ‘इंडिया टुडे’ की रिपोर्ट के मुताबिक 2021 का तालिबान 1990 के तालिबान से काफी अलग दिखाई देता है। तालिबानियों की तरफ से जो वीडियो जारी किए जाते हैं और जो अलग-अलग मीडिया संस्थानों से प्राप्त होते हैं उनके मुताबिक तालिबान की वेशभूषा और कार्यशैली में भी परिवर्तन आया है।
तालिबान के पास एक दम नयी तकनीक के हथियार और आधुनिक एसयूवी गाड़ियां आ गई हैं। तालिबान के उग्रवादी जो कपड़े पहनते हैं वो एकदम नए और साफ सुथरे दिखते हैं। जबकि पहले की वेशभूषा और उनका रहन-सहन कबीलों की तरह था। हालांकि तालिबान की सोच या कहें विचारधारा अभी भी पहले जैसी ही है। उसमें कुछ खास परिवर्तन नहीं हुआ है।
रिपोर्ट के मुताबिक तालिबानी उग्रवादी अब अनुशासित नजर आते हैं और उन्हें अच्छी ट्रेनिंग दी गई है। जिसकी वजह से वो आत्मविश्वास से भरे हुए दिखाई देते हैं और इसके पीछे पैसों से भरा हुआ खजाना है।
कितना अमीर है तालिबान ?
साल 2016 में फोर्ब्स ने दुनिया के सबसे अमीर आतंकवादी संगठनों की सूची जारी की थी। जिसमें तालिबान को पांचवां स्थान मिला था। जबकि आईएसआईएस सबसे अमीर आतंकी संगठन था और उसकी कुल संपत्ति करीब 2 अरब अमेरिकी डॉलर बताई गई थी।
फोर्ब्स के मुताबिक तालिबान का सालाना कारोबार तकरीबन 400 मिलियन डॉलर आंका गया था। साल 2016 में तालिबान काफी कमजोर था। समय के साथ-साथ उसकी ताकत और पैसों के खजाने में भी वृद्धि हुई।
रेडियो फ्री यूरोप/रेडियो लिबर्टी ने नाटो की खुफिया रिपोर्ट के हवाले से तालिबान की असल संपत्ति का खुलासा किया। इस रिपोर्ट को देखकर समझा जा सकता है कि साल 2016 के मुकाबले तालिबान की संपत्ति में काफी ज्यादा इजाफा हुआ है। रिपोर्ट में वित्त वर्ष 2019-20 में तालिबान का सालाना बजट 1.6 अरब डॉलर बताया गया। जो साल 2016 के मुकाबले 400 फीसदी ज्यादा है।
इस रिपोर्ट में तालिबान को कहां-कहां से पैसा आता है उसकी भी जानकारी दी गई है। बता दें कि माइनिंग से 464 मिलियन डॉलर, मादक पदार्थों की तस्करी से 416 मिलियन डॉलर, चंदे से 240 मिलियन डॉलर रुपए कमाता है। इसके अलावा तालिबान अलग-अलग लोगों से 249 मिलियन डॉलर, टैक्स के नाम पर 160 मिलियन डॉलर औऱ रियल स्टेट से 80 मिलियन डॉलर की कमाई करता है।
अफगानिस्तान पर पूर्ण नियंत्रण हासिल कर लेगा तालिबान !
नवीनतम अमेरिकी सैन्य खुफिया आकलन से पता चलता है कि काबुल 30 दिनों के भीतर विद्रोहियों के दबाव में आ सकता है और अगर मौजूदा रुख जारी रहा तो तालिबान कुछ महीनों के भीतर देश पर पूर्ण नियंत्रण हासिल कर सकता है। यदि तालिबान यही गति बनाए रखता है तो अफगान सरकार को आने वाले दिनों में पीछे हटने और राजधानी और केवल कुछ अन्य शहरों की रक्षा के लिए मजबूर होना पड़ सकता है।